झारखंड चुनाव को इन तीखे बयानों ने बनाया दिलचस्प, बता रहे चुनावी हवा किस ओर…
Jharkhand Election All Important Statements: झारखंड चुनाव (Jharkhand Election) के पहले चरण का चुनाव प्रचार सोमवार शाम समाप्त हो गया. 13 नवंबर को मतदान है. लड़ाई महागठबंधन और एनडीए के बीच है. महागठबंधन की अगुवाई झारखंड मुक्ति मोर्चा कर रही है तो एनडीए की अगुवाई भाजपा. महागठबंधन में कांग्रेस, लालू यादव की पार्टी राजद सहित सीपीएम शामिल है तो एनडीए में नीतीश कुमार की जदयू, चिराग पासवान की पार्टी और आजसू शामिल है. चुनाव से पहले ही हेमंत सोरेन का भ्रष्टाचार के आरोप में जेल जाना, फिर चंपई सोरेन का सीएम बनना और फिर हेमंत सोरेन का जमानत मिलने के बाद सीएम बनने से लेकर चंपई के बागी होने और भाजपा में शामिल होने की घटनाओं ने पूरे झारखंड को और खासकर आदिवासियों के बीच काफी चर्चा का विषय बना. इसी बीच हेमंत सोरेन के दिवंगत भाई की पत्नी मतलब भाभी सीता सोरेन का भाजपा में शामिल होना भी झारखंड की राजनीति में बड़ा बवंडर था. लोकसभा चुनाव में हालांकि, हेमंत सोरेन (Hemant Soren) इन सब तूफानों के बाद भी अपनी पार्टी को बचा ले गए, लेकिन बीजेपी के तूफान को रोक न सके.
झारखंड में सभी के लिए मौका
झारखंड में कुल 14 लोकसभा सीटें हैं. इसमें 2024 के लोकसभा चुनाव में भाजपा को 8 सीटें, जेएमएम को 3, कांग्रेस को 2 और आजसू को 1 सीट मिली. ये प्रदर्शन भी भाजपा के लिए एक झटके की तरह ही था. कारण भाजपा ने 2019 के लोकसभा चुनाव में 11 सीटें जीती थीं. इस तरह से कमजोर समझे जा रहे हेमंत सोरेन ने बहुत हद तक भाजपा को चोट लगा ही दी थी. हालांकि, इसके बाद भाजपा ने झारखंड पर फोकस बढ़ा दिया. असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा शर्मा और देश के कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान को झारखंड की जिम्मेदारी सौंप दी. लोकसभा चुनाव में जाति जनगणना और संविधान पर खतरे ने भाजपा को बड़ी चोट दी थी. इसलिए विधानसभा चुनाव आते-आते जातियों में बंटे समाज को गोलबंद करने की रणनीति पर भाजपा तेजी से काम करने लगी. पीएम मोदी से लेकर अमित शाह तक झारखंड में दौरे करने लगे. शिवराज और हिमंता तो लगातार लगे ही रहे. इस बीच हेमंत सोरेन लगातार घोषणाएं करने लगे और नये-नये तरीके से चुनाव के पहले ही वोटरों को लुभाने के लिए बड़े ऐलान करने लगे.
अमित शाह बनाम हेमंत सोरेन
फिर टिकटों का ऐलान हुआ और दोनों तरफ से एक-दूसरे पर हमले शुरू हो गए. भाजपा की तरफ से झारखंड में भ्रष्टाचार और घुसपैठियों की बढ़ती संख्या को लेकर ‘बटोगे तो कटोगे’ का नारा जोरशोर से उठाया जाने लगा. वहीं हेमंत सोरेन इस बीच अल्पसंख्यक समाज खासकर मुस्लिमों को खुश करने और अपनी घोषित योजनाओं के जरिए लोगों को अपने पक्ष में करने लगे. केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने रविवार को घोषणा की है कि अगर भारतीय जनता पार्टी (BJP) झारखंड में सत्ता में आई तो राज्य में समान नागरिक संहिता (UCC) लागू की जाएगी, लेकिन जनजातीय समुदायों को इसके दायरे से बाहर रखा जाएगा. इसके तुरंत बाद हेमंत सोरेन ने घोषणा की कि वे ऐसा नहीं होने देंगे. बीजेपी के घोषणापत्र और केंद्रीय मंत्री अमित शाह (Amit Shah) की “घुसपैठ” पर टिप्पणी पर झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन (Hemant Soren) ने तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त की. सोरेन ने कहा है कि बांग्लादेश से घुसपैठ बीजेपी शासित राज्यों के माध्यम से होती है. उन्होंने सवाल किया कि केंद्र ने किस आधार पर बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना को शरण दी है?
पीएम मोदी ने दिया मंत्र
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) ने आज ही ‘मेरा बूथ सबसे मजबूत’ कार्यक्रम के तहत झारखंड भाजपा के बूथ कार्यकर्ताओं से संवाद किया. उन्होंने कहा कि झारखंड संभावनाओं से भरा राज्य है, लेकिन यहां शासन कर रही पार्टियों ने इसे तबाह कर रखा है. प्रधानमंत्री ने भाजपा कार्यकर्ताओं का हौसला बढ़ाते हुए कहा कि आपकी मेहनत की नतीजा राज्य के कोने-कोने में दिखाई दे रहा है. चुनाव कार्यकर्ता लड़ते हैं और चुनाव लड़ने का तरीका भी संगठन और कार्यकर्ता आधारित होता है. आपकी मेहनत ने विपक्षी दल की नींद उड़ा दी है. झारखंड को हमें इनके भ्रष्टाचार, माफियावाद और कुशासन से मुक्त कराना है.
योगी आदित्यनाथ का नारा हिट
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Yogi Adiyanath) ने सोमवार को झारखंड में चुनाव प्रचार अभियान के दौरान ‘बंटोगे तो कटोगे’ और ‘एक रहोगे तो सेफ रहोगे’ के नारों के साथ भाजपा प्रत्याशियों के लिए वोट मांगे. राज्य की भवनाथपुर विधानसभा क्षेत्र में आयोजित चुनावी सभा को संबोधित करते हुए सीएम योगी ने कहा कि कांग्रेस, झारखंड मुक्ति मोर्चा और राजद समाज को बांटना चाहते हैं, आपको उनके बहकावे में नहीं आना है. ये तीनों पार्टियां बांग्लादेशियों और रोहिंग्या के हितैषी हैं. योगी ने दावा किया कि 23 नवंबर के बाद राज्य में भाजपा की सरकार बनेगी.
लालू यादव दिखे तेवर में
राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव (Lalu Yadav) ने झारखंड के कोडरमा के मरकच्चो प्रखंड के गुरहा मैदान में रविवार को एक चुनावी जनसभा को संबोधित किया. राजद प्रत्याशी सुभाष यादव के समर्थन में चुनावी जनसभा को संबोधित करने लालू यादव सड़क मार्ग से कोडरमा पहुंचे. अपने संबोधन के दौरान लालू यादव ने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा कि पीएम मोदी ने देश के युवाओं, किसानों और मजदूरों को ठगने का काम किया है. लालू यादव ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी को जड़ से उखाड़ फेंकिए और ‘इंडिया’ गठबंधन को मजबूत कीजिए.
चिराग पासवान खूब बरसे
केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान (Chirag Paswan) ने झारखंड में झामुमो के नेतृत्व वाले गठबंधन पर अपने राजनीतिक हित की पूर्ति के लिए गरीबों का पैसा लूटने का रविवार को आरोप लगाया. उन्होंने आरोप लगाया कि हेमंत सोरेन सरकार के शासन के तहत महिलाएं सुरक्षित नहीं हैं. पासवान झारखंड के पलामू जिले के हुसैनाबाद में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के उम्मीदवार कमलेश कुमार सिंह के समर्थन में एक चुनावी रैली को संबोधित कर रहे थे.उन्होंने दावा किया, ‘‘झामुमो-कांग्रेस सरकार ने झारखंड को खतरे में डाल दिया है और गठबंधन ने राज्य के गरीब लोगों का पैसा लूटा है.”उन्होंने आरोप लगाया कि राज्य सरकार ने युवाओं को पांच लाख नौकरियां देने का वादा किया था, लेकिन उन्हें धोखा दिया. पासवान ने कहा, ‘‘झारखंड में महिलाएं सुरक्षित नहीं हैं. लूट और भ्रष्टाचार बढ़ रहा है. झारखंड को इससे निजात दिलाने के लिए यहां भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार की जरूरत है.”
मायावती ने भी दिखाए तेवर
बहुजन समाज पार्टी (बसपा) प्रमुख मायावती (Mayawati) ने रविवार को भाजपा, कांग्रेस एवं अन्य क्षेत्रीय दलों पर अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और अन्य पिछड़ा वर्ग समुदायों को उनके उचित लाभ, विशेष रूप से आरक्षण से वंचित करने का आरोप लगाया.झारखंड के पलामू जिले के हुसैनाबाद में एक रैली को संबोधित करते हुए मायावती ने लोगों से बसपा उम्मीदवार शिवपूजन मेहता का समर्थन करने का आग्रह किया, जो 2014 में बसपा के टिकट पर हुसैनाबाद से पहली बार निर्वाचित हुये थे.उन्होंने कहा कि कांग्रेस, भाजपा और जाति आधारित दलों के साथ प्रयोग करने का समय खत्म हो गया है.उन्होंने इन दलों पर दलितों, आदिवासियों और पिछड़े वर्गों के हितों की अनदेखी करने और राजनीतिक लाभ के लिए आरक्षण प्रणाली को कमजोर करने का आरोप लगाया.
तेजस्वी यादव को आई चाचा की याद
राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के नेता तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) ने रविवार को भाजपा पर समाज में नफरत फैलाने का आरोप लगाया और कहा कि झारखंड विधानसभा चुनाव ‘‘देश के संविधान और लोकतंत्र को बचाने” के लिए है. उन्होंने दावा किया कि चुनाव के बाद झारखंड में हेमंत सोरेन के नेतृत्व वाली सरकार बनेगी, जबकि अगले साल बिहार में राजद नीत गठबंधन सत्ता में आएगा.चतरा जिले के हंटरगंज में एक रैली को संबोधित करते हुए यादव ने आरोप लगाया, ‘‘भाजपा समाज में नफरत फैलाती है और जनादेश का अपमान करती है. झारखंड में यह चुनाव देश के संविधान और लोकतंत्र को बचाने के लिए है. भाजपा विधायकों को खरीदने का प्रयास करती है। जो लोग बिकना नहीं चाहते, उन्हें प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) और केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) के माध्यम से धमकाया जाता है. बिहार में, उन्होंने (भाजपा ने) हमारे मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को ‘हाईजैक’ कर लिया.”
हेमंत सोरेन खूब भड़के
झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन (Hemant Soren) ने रविवार को कहा कि झामुमो का ‘जल, जंगल और जमीन’ तथा मूल निवासियों एवं आदिवासियों के अधिकारों की रक्षा करने का लंबा इतिहास है. सोरेन ने इस बात पर जोर दिया कि पिछले पांच वर्षों में उनकी सरकार के प्रयास इन अधिकारों को प्रभावी तरीके से लागू करने के प्रति लक्षित रहे. मुख्यमंत्री ने पश्चिम सिंहूभूम जिले के चक्रधरपुर निर्वाचन क्षेत्र में स्थित चार मोड़ मैदान में पार्टी उम्मीदवार सुखराम उरांव के समर्थन में आयोजित एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा, ‘‘हमारी सरकार ने यहां के लोगों की समस्याओं का संज्ञान लिया.” झामुमो नेता ने झारखंड में सत्ता में अधिकांश समय तक काबिज रहे भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नीत राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) पर निशाना साधते हुए कहा, ‘‘कमल (भाजपा का चुनाव चिह्न) और ‘डबल इंजन’ की सरकार ने राज्य को गरीब बना दिया और पिछड़ेपन की ओर धकेल दिया. सोरेन ने चुनाव प्रचार के लिए देश भर से नेताओं को लाने को लेकर भाजपा की आलोचना करते हुए कहा, ‘‘वरिष्ठ भाजपा नेता गिद्धों की तरह 50-60 हेलीकॉप्टर में उड़ रहे हैं.”उन्होंने लोगों को आगाह करते हुए कहा, ‘‘उनके जहर से सावधान रहें. ये धोखेबाज झूठे वादे करने यहां आते हैं. वे पार्टी को तोड़ने, आपके घरों, समुदायों और राज्य को नष्ट करने की कोशिश करेंगे. ऐसी ताकतों से सावधान रहें.”
पीएम मोदी बनाम कांग्रेस
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को कांग्रेस पर निशाना साधते हुए आरोप लगाया कि उसका ‘शाही परिवार’ अपने ‘नापाक मंसूबों’ के तहत आरक्षण छीनने के लिए अनुसूचित जनजाति (एसटी), अनुसूचित जाति (एससी) और अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) की एकता को तोड़ने पर तुला हुआ है. गुमला में एक चुनावी रैली को संबोधित करते हुए उन्होंने झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) नीत गठबंधन पर खनिज, जंगल, रेत और कोयले जैसे राज्य के समृद्ध संसाधनों को लूटने का आरोप लगाया और दावा किया कि इससे ‘रोटी, माटी और बेटी’ पर गंभीर खतरा पैदा हो गया है. उन्होंने सत्तारूढ़ सरकार पर घुसपैठियों को बढ़ावा देने का भी आरोप लगाया. उन्होंने कहा, ‘‘कांग्रेस जानती है कि यदि अनुसूचित जनजाति, अनुसूचित जाति और अन्य पिछड़ा वर्ग एक हो गए तो वे पार्टी के अस्तित्व के लिए खतरा पैदा कर देंगे. यही कारण है कि कांग्रेस का शाही परिवार उनकी एकता तोड़ने पर आमादा है… वे आरक्षण छीनना चाहते हैं.”
बंटेंगे तो कटेंगे पर सोरेन
झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के ‘बंटेंगे तो कटेंगे’ नारे पर निशाना साधते हुए शनिवार को दावा किया कि राज्य विधानसभा चुनाव में भाजपा को हार का सामना करना पड़ेगा. सोरेन ने यहां अपने आवासीय कार्यालय में मीडियाकर्मियों से बातचीत में चुनाव प्रचार के बीच में आयकर के छापों की भी आलोचना की. आयकर विभाग ने कर चोरी से संबंधित जांच के तहत शनिवार को सोरेन के एक सहयोगी के परिसरों सहित कई स्थानों पर तलाशी ली.सूत्रों के अनुसार, सुबह के समय शुरू हुए अभियान में राज्य की राजधानी रांची और जमशेदपुर में कुल नौ ठिकानों पर छापेमारी की गई. भाजपा के ‘बंटेंगे तो कटेंगे’ नारे को लेकर एक सवाल के जवाब में सोरेन ने कहा, ‘‘यहां ना तो बंटे हैं, ना बटेंगे लेकिन चुनाव के माध्यम से कूटे जरूर जाएंगे ये (भाजपा) लोग.”
एक हैं तो सेफ हैं भी खूब चला
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को चुनावी राज्य महाराष्ट्र के नांदेड़ में एक रैली को संबोधित करते हुए कहा कि कांग्रेस लोगों को जातियों में बांटना चाहती है, इसलिए “हम एक रहेंगे तो सेफ रहेंगे”. वहीं, लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी और कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने भाजपा नेताओं के “बंटेंगे तो कटेंगे” के नारे पर पलटवार किया. राहुल गांधी ने कहा, “प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जातिगत जनगणना को रोकने का प्रयास कर रहे हैं. कांग्रेस और ‘इंडिया’ गठबंधन देश से वादा करता है कि जातिगत जनगणना करके दिखाएंगे. आरक्षण की सीमा को 50 फीसदी से अधिक किया जाएगा.” उन्होंने झारखंड में एक रैली को संबोधित करते हुए ‘इंडिया’ गठबंधन द्वारा आदिवासियों को 28 फीसदी, दलितों को 12 प्रतिशत और पिछड़े वर्ग को 27 फीसदी आरक्षण देने के वादे को भी दोहराया.
खरगे बंटेंगे तो कटेंगे पर भड़के
मल्लिकार्जुन खरगे (Mallikarjun Kharge) ने कहा, “उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री ‘बंटेंगे तो कटेंगे’ का नारा लगाते हैं, तो प्रधानमंत्री मोदी ‘एक हैं तो सेफ हैं’ का नारा देते हैं. भाजपा ने हमेशा लोगों का ध्यान भटकाने और उन्हें गुमराह करने के लिए विभाजनकारी राजनीति का सहारा लिया है. बाबा साहेब के संविधान के बनने से पहले भाजपा के लोग मनुस्मृति पर चलते थे. भाजपा ने ही लोगों को ब्राह्मण, क्षत्रिय, वैश्य, शूद्र और अति शुद्र में बांटा. उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के ‘मुख में राम और बगल में छुरी’ है.” कांग्रेस अध्यक्ष ने भाजपा के राष्ट्रवाद और देशभक्ति के दावों पर भी कटाक्ष किया.
योगी-मोदी पर बरसे खरगे
कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने सोमवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और असम के सीएम हिमंता बिस्वा सरमा का नाम लेकर उन पर बड़ा जुबानी हमला किया. झारखंड की छतरपुर विधानसभा सीट पर कांग्रेस प्रत्याशी के पक्ष में चुनावी सभा को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री खुद को बैकवर्ड का बेटा बताते हैं, लेकिन वह फॉरवर्ड को सपोर्ट करते हैं. वह बैकवर्ड को कुचलने वालों को सपोर्ट करते हैं.”
खरगे का विवादास्पद बयान
खरगे ने योगी आदित्यनाथ पर निशाना साधते हुए कहा कि वे साधु का ड्रेस पहनते हैं, पर लोगों के बीच आकर ‘बंटेंगे तो कटेंगे’ जैसी बात बोलते हैं, क्या ये साधु का काम है? ऐसा कोई टेररिस्ट बोल सकता है, साधु नहीं बोल सकते हैं. कांग्रेस अध्यक्ष यहीं नहीं रुके, उन्होंने योगी को लक्ष्य करते हुए कहा कि क्या उन्होंने गेरुआ वस्त्र प्रधानमंत्री की तरह झूठ बोलने के लिए पहना है? साधु तो करुणामय होते हैं. उन्होंने बहुत के घरों को बुलडोजर लगाकर तोड़ दिया. जब राजीव गांधी को मानव बम से उड़ाया गया तो उनके टुकड़े-टुकड़े हो गए. टुकड़े जोड़कर उनकी अंतिम क्रिया की गई. ऐसा करने वाले लोगों को सोनिया गांधी ने माफ कर दिया. इसे करुणामय कहते हैं.