पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान ने कहा है कि पाकिस्तान के (निवेश के मामले में) अलग-थलग पड़ने का खतरा है, क्योंकि राजनीतिक अस्थिरता और आतंकवाद ने अर्थव्यवस्था को पतन के कगार पर ला दिया है. पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ के संस्थापक खान (71) ने शुक्रवार को कहा कि आर्थिक संकट से जूझ रहे देश की नाजुक अर्थव्यवस्था पाकिस्तान के समक्ष ‘‘सबसे बड़ी चुनौती” है, लेकिन खुफिया एजेंसियां एक राजनीतिक पार्टी को निशाना बनाने में व्यस्त हैं.
‘डॉन न्यूज’ की खबर के मुताबिक, खान ने कहा कि देश अलग-थलग पड़ने के खतरे का सामना कर रहा है और कोई भी पाकिस्तान में निवेश नहीं करेगा क्योंकि देश आतंकवाद से जूझ रहा है. खान ने अदालती कार्यवाही में भाग लेने के बाद कहा कि संघीय दल होने के नाते उनकी पार्टी इस गंभीर स्थिति से निपट सकती है, क्योंकि अन्य सभी राजनीतिक दल अपने क्षेत्रों तक सीमित हैं.
खान ने कहा कि राजनीतिक दल देश को एकजुट कर सकते हैं, लेकिन यह विडंबना है कि देशव्यापी मौजूदगी वाली उनकी पार्टी को ‘‘कमजोर किया जा रहा है.”